सांस्कृतिक कार्यक्रम दिल्ली की महिला अधिवक्ताओं ने अपनी अद्वितीय पहचान बनाई है, जिसका अद्भुत उदाहरण लेडी लॉयर्स मिट 2024 है। यह महोत्सव न केवल कोर्ट के अंदर बल्कि कोर्ट के बाहर भी महिला अधिवक्ताओं के तालेमेल का प्रतिष्ठात्मक प्रस्तुतिकरण करता है।
सांस्कृतिक कार्यक्रम : अदालत की रोशनी में नहीं, अपने आयाम पर चमकीं महिला अधिवक्ताएं: लेडी लॉयर मिट 2024
इस आयोजन को , दिल्ली की सभी जिला अदालतों की महिला अधिवक्ताएं, साथ ही हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट की भी महिला अधिवक्ताएं, ने एक बहुत ही शानदार आयोजन किया। इस मेगा इवेंट में अलग-अलग क्षेत्रों में कार्यरत महिला अधिवक्ताओं ने सांस्कृतिक गानों पर नृत्य किया और रंगमंच की सजावट में अपना योगदान दिया।
महिला अधिवक्ताओं का सांस्कृतिक और शैलीकृत क्षेत्र में उत्कृष्टता दिखाने का दृढ़ संकल्प, वे कोर्ट में केस की गंभीरता को बनाए रखते हुए अपने अनूठे तरीके से न्याय की भावना को प्रकट करती हैं। इसके साथ ही, वे मनोरंजन और कला के क्षेत्र में भी अपना प्रतिभा प्रदर्शित करती हैं।
लेडी लॉयर्स मिट 2024 ने एक ऐसा मंच प्रदान किया, जहां से वे अपनी भौगोलिक, सांस्कृतिक, और कलात्मक पहचान को साझा कर सकीं। इस कार्यक्रम में, महिला अधिवक्ताएं नृत्य, संगीत, और रंगमंच के माध्यम से अपनी कला को प्रदर्शित करती रहीं।
इस समारोह का आयोजन और संचालन महिला अधिवक्ताओं के द्वारा ही किया गया, जिससे यह एक सफलता बनी। महिला अधिवक्ताओं ने अपनी अद्वितीय प्रतिभाओं को साकार किया और इस कार्यक्रम को सफल बनाने में उनका महत्वपूर्ण योगदान रहा। इसके साथ ही, यह कार्यक्रम उनकी गुप्त प्रतिभाओं को सामने लाने का अवसर प्रदान करता है।
इस कार्यक्रम के आयोजन में भी महिला अधिवक्ताओं का बहुत बड़ा हाथ था। उन्होंने इसे सफल बनाने के लिए संयोजन, प्रबंधन और पार्टिसिपेशन में अपना योगदान दिया। मुख्य किरदारों में अधिवक्ता कविता कपिल ,अधिवक्ता सुरेंदर कौर , अधिवक्ता धनेश्वरी भारती , अधिवक्ता पूजा गुप्ता , अधिवक्ता ज्योति आर्या , अधिवक्ता सिमरन , अधिवक्ता राधा रानी , अधिवक्ता इंदु रंजन और अधिवक्ता शालिनी गोस्वामी का अहम योगदान रहा। इस कार्यक्रम को सफल बनाने में सतत प्रयास और अथक मेहनत की पूर्ति की गई और महिला अधिवक्ताओ की प्रतिभाओ को भी उजागर किया गया जिस कारन छुपी प्रतिभाओ को उजागर करने का अवसर मिला